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शाबास: पिता की उम्मीद को पुत्री ने लगाए पंख, अखबार बेचने वाली की बेटी ने क्रेक किया आईएएस का एग्जाम…
अगर दिल में लगन और जज्बा हो तो कठोर परिश्रम के द्वारा किसी भी लक्ष्य को भेजा जा सकता है. ऐसा ही कुछ हरियाणा के बेटी शिवजीत भारती सैनी (Shivjit Bharti Saini) ने कर दिखाया है. अपने संघर्ष बड़े जीवन के बाद आईएएस ऑफिसर (IAS Officer) बनकर जो उन्होंने मुकाम हासिल किया है वह समाज के लोगों के लिए एक मिसाल बन कर सबके सामने आया है. उनके आईएएस बनने के बाद उनके माता-पिता और पूरे राज्य का नाम रोशन हुआ है. बता दें कि भारतीय एक अखबार बेचने वाले गुरनाम सैनी की बेटी हैं लेकिन फिर भी उन्होंने सारे प्रतियोगियों को कड़ी टक्कर दी. गौरतलब है कि इस साल सिविल सर्विस के एग्जाम में हरियाणा (Haryana) से कुल 48 परीक्षार्थी कामयाब रहे जिनमें भारतीय का नाम भी शामिल है.
पिता अखबार भेजते हैं तो मां करती हैं आंगनबाड़ी में नौकरी
शिवजीत भारती सैनी और उनके पूरे परिवार की बात करें तो वह हरियाणा के जयसिंह पुरा गांव में रहते हैं जहां पर उनके पिता प्रतिदिन सुबह अखबार बांटने के लिए निकल जाया करते थे. वही उनकी मां शारदा सैनी आंगनबाड़ी में काम करती हैं. ऐसी परिस्थितियों में उनके परिवार की आर्थिक स्थिति बिल्कुल अच्छी नहीं रही फिर भी शिव जीत ने यूपीएससी की परीक्षा में सफल होकर अपनी कामयाबी के झंडे गाड़ दिए।
बिना कोचिंग के ही किया यूपीएससी पास
घर की माली स्थिति सही नहीं होने के कारण उनके पास कभी भी इतने पैसे नहीं हुए कि वह कोचिंग ज्वाइन कर सकें. फिर भी उन्होंने अपने आत्मविश्वास को लड़खड़ा ने नहीं दिया और खुद को विश्वास दिलाया कि सेल्फ स्टडी करके ही वह परीक्षा देंगे और उसमें सफल होकर रहेंगी। उन्होंने घर पर ही रह कर सिविल सर्विसेज की परीक्षा की तैयारियां शुरू कर दी और अंत में उनकी मेहनत रंग लाई और पहले ही प्रयास में उन्होंने हरियाणा में यह परीक्षा पास कर ली।
एक इंटरव्यू के दौरान उन्होंने बताया कि जब उनकी परीक्षा पूरी हो गई थी तब उनके माता-पिता, उनके आस पड़ोस पड़ोस तथा रिश्तेदार वाले भी उनकी शादी करने के लिए जोर जबस्ती कर रहे थे. परंतु उन्होंने सभी से कहा था कि जब तक मैं कुछ कर नहीं लूंगी तब तक शादी नहीं करूंगी।
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