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BREAKING: हरिद्वार हाइवे जाम करने पर इस नेता की छिनी विधायकी, सीट हुई खाली…
राजनीति से जुड़ी बड़ी खबर आ रही है। बताया जा रहा है कि 15 साल पहले हरिद्वार हाइवे पर जाम करने के मामले में सजा मिलने पर विधानसभा सचिवालय ने बड़ी कार्रवाई की है। सपा नेता आजम खान के बाद अब उनके बेटे अब्दुल्ला आजम की भी विधायकी छिन गई है। उनकी विधानसभा सदस्यता रद्द कर दी गई है। बुधवार को यूपी विधानसभा सचिवालय ने अब्दुल्ला आजम की स्वार सीट को रिक्त घोषित कर दिया। अब 6 महीने के अंदर स्वार सीट पर उपचुनाव कराया जाएगा।
मीडिया रिपोर्टस के अनुसार आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला आजम को जिस मामले में सजा हुई है, वह छजलैट मामला करीब 15 साल पुराना है। 15 साल पहले हरिद्वार हाइवे पर जाम करने के एक मामले में कोर्ट ने दो साल की सजा सुनाई है। इसी सजा के बाद अब्दुल्ला आजम की विधायकी चली गई है। नियम यह है कि आपराधिक मामले में दो साल या उससे अधिक सजा होने पर जनप्रतिनिधि की विधायकी खुद ही खत्म हो जाती है।
ये है मामला
हरिद्वार हाईवे पर मुरादाबाद के छजलैट थाने के सामने 2 जनवरी, 2008 को मुरादाबाद के तत्कालीन SSP प्रेम प्रकाश ने पूर्व मंत्री आजम खान की गाड़ी चेकिंग के लिए रुकवाई थी। इसके बाद आजम की गाड़ी पर लगा हूटर उतरवा दिया था। इसे लेकर विवाद बढ़ गया था। आजम खान वहीं सड़क पर धरना देकर बैठ गए थे। इसके बाद आस-पास के जिलों से भी सपा के नेता और कार्यकर्ता छजलैट पहुंच गए थे। आजम खान समेत दूसरे सपा नेताओं पर सरकारी कार्य में बाधा डालने, भीड़ को उकसा कर बवाल कराने समेत विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया गया था। जिसपर अब सजा सुनाई गई है।
बताया जा रहा है कि इस 15 साल पुराने मामले में मुरादाबाद की MP/MLA कोर्ट ने सोमवार को सपा महासचिव आजम खान और उनके विधायक बेटे अब्दुल्ला आजम को 2-2 साल की सजा सुनाई थी। दोनों पर 2-2 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है। इस पर अब उनकी विधायकी रद्द कर दी गई है। गौरतलब है कि अब्दुल्ला आजम को 3 साल में अपनी विधायकी से दो बार हाथ धोना पड़ा है। 3 साल पहले भी उम्र के फर्जी प्रमाणपत्र मामले में हाईकोर्ट में अब्दुल्ला की विधायकी को रद्द कर दिया था।
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